जनजीवन ब्यूरो / नई दिल्ली। संसद के मानसून सत्र को लेकर नरेंद्र मोदी सरकार की चिंता साफ तौर पर दिखाई दे रही है। मानसून सत्र में जोरदार हंगामा होने की संभावना को देखते हुए मोदी सरकार किसी भी तरह जोखिम लेना नहीं चाहती है। इसी को ध्यान में रखते हुए केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल आज राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी अध्यक्ष शरद पवार से मुलाकात की। हालांकि अभी तक यह जानकारी नहीं मिली कि उनकी मुलाकात का एजेंडा क्या था। लेकिन माना जा रहा है कि मानसून सत्र को लेकर ही दोनों नेताओं के बीच बातचीत हुई होगी। बताया जाता है कि मोदी कैबिनेट में शामिल मंत्रियों ने पवार से मिलने का समय मांगा था।
नरेंद्र मोदी सरकार ने पीयूष गोयल का कद बढ़ाते हुए राज्यसभा का नेता बना दिया है। राज्यसभा के नेता के तौर पर पीयूष गोयल की यह अग्नि परीक्षा साबित हो सकती है। गोयल कभी भी नहीं चाहेंगे कि राज्यसभा से विपक्ष वाक आउट करे या सदन के अंदर हंगामा खड़ा करे। इसलिए कद्दावर नेताओं को पहले से ही साघने की कोशिश में जुटे हुटे हुए हैं।
राकांपा अध्यक्ष शरद पवार आज दिल्ली में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह से मुलाकात हुई है। माना जा रहा है कि दोनों नेताओं के बीच रक्षा संबंधी चर्चा हुई है। मानसून सत्र से पहले हो रही इन बैठकों के बारे में सूत्रों का कहना है कि सत्तापक्ष, कई अहम मुद्दों पर विपक्ष के शरद पवार को साधने की कोशिश में है।
पवार ने संसद सत्र के पहले ठाकरे से मुलाकात की
पवार, शुक्रवार को ही दिल्ली आए हैं। दिल्ली आने से पहले उन्होंने सीएम उद्धव ठाकरे से मुलाकात की थी। दोनों नेताओं की यह भेंट संसद के मानसून सत्र की शुरुआत से कुछ दिन पहले और प्रदेश कांग्रेस प्रमुख नाना पटोले के हालिया विवादास्पद बयानों की पृष्ठभूमि में हुई। यह बैठक दक्षिण मुंबई में मुख्यमंत्री के आधिकारिक आवास ‘वर्षा’ में हुई। पवार राज्यसभा सदस्य हैं और उनकी पार्टी राज्य में सत्तारूढ़ महा विकास आघाडी गठबंधन का एक प्रमुख दल है. शिवसेना नेता ठाकरे इसकी अगुआई कर रहे हैं. कांग्रेस गठबंधन में शामिल तीसरी पार्टी है।
संसद का मानसून सत्र 19 जुलाई से शुरू होकर 13 अगस्त तक चलेगा। राज्य सरकार ने मांग की है कि स्थानीय निकायों में अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के लिए राजनीतिक कोटा बहाल करने और नौकरियों और शिक्षा में मराठों के आरक्षण के लिए 50 प्रतिशत की सीमा में छूट की खातिर केंद्र हस्तक्षेप करे। राज्य सरकार ने महाराष्ट्र में टीकाकरण अभियान में तेजी के लिए हर महीने केंद्र से तीन करोड़ कोविड टीके भी मांगे हैं।