जनजीवन ब्यूरो
अहमदाबाद। पटेल समुदाय को ओबीसी का दर्जा देने की मांग को लेकर चलाए जा रहे आंदोलन के कारण गुजरात की हालत नाजूक हो गई हा। विशाल रैली के बाद जीएमडीसी मैदान में उस समय अफ़रा-तफ़री मच गई जब पुलिस ने पटेल समुदाय के नेता हार्दिक पटेल को घेर लिया।
पटेल समुदाय के 22 वर्षीय नेता हार्दिक पटेल ने जीएमडीसी मैदान से तब तक न जाने की घोषणा की थी, जब तक मुख्यमंत्री आनंदीबेन वहाँ आकर प्रदर्शनकारियों से मांगपत्र नहीं लेती हैं। उन्होंने 48 घंटे तक रैली के स्थल पर डटे रहने की बात कही थी।
ख़ासी संख्या में पुलिसवालों ने रैली के स्थल पर पहुँचकर हार्दिक पटेल को घेर लिया और स्टेज से वहाँ मौजूद लगभग 700-800 लोगों को शांत रहने की अपील की। पुलिस ने वहाँ मौजूद प्रदर्शनकारियों पर लाठियां बरसाईं और मीडियाकर्मियों के वाहनों को भी नुकसान हुआ।
इसके बाद पुलिस हार्दिक पटेल को वहां से किसी अज्ञात स्थान पर ले गई। पुलिस ने फ़िलहाल ये स्पष्ट नहीं किया है कि उन्होंने पटेल को गिरफ़्तार किया है या नहीं।
पटेल समुदाय की इस रैली को महा-क्रांति रैली कहा गया जिसमें हज़ारों लोगों ने भाग लिया।
हार्दिक ने रैली में कहा, “यदि आप हमें हमारा अधिकार नहीं दोगे तो हम इन्हें छीन लेंगे। पटेलों पर वही राज करेगा जो पटेलों के हित की बात करेगा। गुजरात में हमने 1985 में कांग्रेस को सत्ता से बाहर किया और अब 2017 का चुनाव आ रहा है, कमल कीचड़ में नहीं खिलेगा….यदि हमारे हितों की बात करोगे, तभी कमल खिलेगा।”
गौरतलब है कि मुख्यमंत्री आनंदीबेन पहले ही पटेल समुदाय को आरक्षण देने के अनुरोध को ठुकरा चुकी हैं और उन्होंने इस बारे में सुप्रीम कोर्ट के फ़ैसले का भी हवाला दिया था।
रात लगभग सवा आठ बजे पुलिस ने ग्राउंड पर तब लाठीचार्ज किया जब वहाँ 700-800 लोग मौजूद थे। रेपिड एक्शन फोर्स और चेतक कमांडो भी मौके पर बुलाए गए थे।
उधर घाटलोडिया इलाके में पुलिस पर पथराव हुआ और अन्य इलाके में कई लोग जमा होने शुरु हो गए।
इस रैली के लिए अहमदाबाद में 20,000 सुरक्षाकर्मी ड्यूटी पर तैनात किए गए थे। साथ ही दंगा पुलिस और ख़ास वाहन भी वहां मौजूद है।
जीएमडीसी मैदान जाने वाले सारे रास्तों को बंद कर दिए गए थे और शहर में प्रदर्शनकारी जगह जगह नारे लगाते और पैदल चलते नज़र आए थे।
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